सी आई सी आर में कृषि विशेषज्ञों द्वारा नरमे व कपास को लेकर एक दिवसीय प्रशिक्षण शिविर का आयोजन
Karni KHaryana :- सिरसा, 24 जुलाई। केंद्रीय कपास अनुसंधान संस्थान (सीआईसीआर) एवं पीएयू - कृषि विज्ञान केंद्र, मानसा के कृषि विशेषज्ञों ने गांव खेड़ा खुर्द, ब्लाक सरदूलगढ़, जिला मानसा में नरमें-कपास की फसल के रखरखाव पर एक दिवसीय प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया गया। इस शिविर में विभिन्न गांवों के 105 किसानों ने भाग लिया।
केंद्रीय कपास अनुसंधान संस्थान के वैज्ञानिक डा. अमरप्रीत सिंह ने किसानों को बताया कि नरमें-कपास की फसल में यूरिया खाद का उपयोग करना चाहिए। फूल आने के बाद से एक सप्ताह के अंतराल पर 2 प्रतिशत पोटेशियम नाइट्रेट (13:0:45) का 4 बार छिड़काव करें और खेतों में खरपतवार न होने दें।
कृषि विज्ञान केंद्र मानसा के कीट विज्ञान के सहायक प्रो. डा. रणवीर सिंह ने किसानों से कहा कि नरमें-कपास में सफेद मक्खी की रोकथाम के लिए सुबह 10 बजे से पहले पौधे के ऊपरी हिस्से में इसकी संख्या 6 हो जाने पर सिफारिश की गयी कीटनाशकों का छिड़काव शुरू कर दें। उन्होंने कहा कि फसल को गुलाबी सुंडी के हमले से बचाने के लिए फूलों और टिंडों का लगातार सर्वेक्षण करते रहें और यदि 100 फूलों में से 5 क्षतिग्रस्त फूल पाए जाते हैं या 20 हरे टिंडों में से 2 या 3 से अधिक टिंडों में सुंडी मिलती हैं, तो कीटनाशकों का छिड़काव करें।
कृषि विशेषज्ञों ने नरमें-कपास के कीटों कि आर्थिक कगार, पहचान एवं खेत में फेरोमोन ट्रेप लगाने की विस्तारपुर्वक जानकारी भी दी। इस अवसर पर प्रतिभागियों के साथ, नरमें-कपास की फसल के खरपतवारों और कीटों के साथ-साथ बीमारी को समझने के लिए नई तकनीकों का अवलोकन करना और नरमें-कपास की फसल से अधिक पैदावार लेने को लेकर सर्वोत्तम कृषि पद्धतियां अपनाने पर गहन चर्चा की गई।
सी आई सी आर में कृषि विशेषज्ञों द्वारा नरमे व कपास को लेकर एक दिवसीय प्रशिक्षण शिविर का आयोजन
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