आमजन की आईडी पर फर्जी सिम जारी करने वाला पोओएस कर्मचारी व मोम का अंगूठा बनाकर सिम जारी करने में प्रयोग करने वाला व्यक्ति गिरफ्तार
रोहतक
रोहतक पुलिस की साइबर थाना की टीम ने मनी लॉन्ड्रिंग का झूठा केस दिखाकर करीब 10 लाख रुपये की हुई धोखाधडी करने की वारदात मे शामिल रहे दो आरोपियो को गिरफ्तार करने मे सफलता प्राप्त की है। आरोपियो को पेश अदालत किया गया है। अदालत के आदेश पर आरोपियो को पुलिस रिमांड पर हासिल किया गया। मामले की गहनता से जांच की जा रही है।
प्रभारी थाना साइबर क्राईम निरीक्षक कुलदीप सिंह ने बताया कि हाल पीजीआईएमएस होस्टल मे रहने वाली प्रीति की शिकायत के आधार पर अभियोग अंकित कर जांच शुरु की गई। प्रारंभिक जाँच में सामने आया कि दिनांक 14.08.2025 को प्रीति के पास फोन आया जिन्होने अपने आप को टेलीकॉम अथॉरिटी इंडिया से बताया। उन्होने प्रीति को कहा कि उसके आधार कार्ड से लडकियो को परेशान किया जा रहा है जिस कारण अगले 2 घंटे मे प्रीति का मोबाइल नम्बर बंद हो जायेगा। उन्होने प्रीति को मोबाइल नम्बर देकर आधार कार्ड पर का गलत प्रयोग की शिकायत करने बारे कहा। प्रीति ने उनके अनुसार दिये गये मोबाइल नम्बर पर कॉल किया तो उन्होने कहा कि आपके क्रेडिट कार्ड व अन्य कागजात मिले है जो मनी लॉन्ड्रिंग मे प्रयोग हो रहे है। जिसके कारण आपके खिलाफ मुंबई कुलाबा पुलिस स्टेशन मे मामला दर्ज है। जिसके बाद उन्होने प्रीति को गिरफ्तारी ऑर्डर, कोर्ट का पत्र व अन्य कागजात दिखाये। प्रीति को माडिया के साथ गिरफ्तारी व बैंक खाता का ब्लॉक करने बारे धमकी देकर डरा दिया। प्रीति के साथ हर समय वह व्हाटसअप कॉल के माध्यम से सर्विलांस पर रहते थे। दिनांक 18.08.2025 को उन्होने प्रीति को कहा कि उसका रुपया मनी लॉन्ड्रिंग मे प्रयोग हुआ है या नही उसके लिये उसके पास जितना भी बैंक मे रुपया है वह उनके द्वारा दिये गये बैंक खाते मे भेज दे। प्रीति ने उनके कहे अनुसार 9 लाख 95 हजार रुपये उनके द्वारा दिये गये खाता मे ट्रांसफर करवा दिये। उसके बाद प्रीति से और रुपयो की मांग की जाने लगी। प्रीति से फर्जी सीबीआई व पुलिस अधिकारी बनकर गिरफ्तारी का डर दिखाकर प्रीति के साथ करीब 10 लाख रुपये की ठगी की।
मामले की जांच मुख्य सिपाही जयप्रकाश द्वारा अमल में लाई गई। दौरान जांच दिनांक 08.11.2025 को आरोपी गौरव पुत्र नरेन्द्र व अरसद पुत्र आशिफ निवासीगण मुरादनगर, उतर प्रदेश को गिरफ्तार किया गया है। वारदात मे शामिल रहे आरोपी संजय को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है। आरोपी गोरव आमजन की आईडी पर फर्जी सिम जारी करने वाला पोओएस कर्मचारी है। आरोपी ने साइबरी ठगी के मामले मे प्रयुक्त फर्जी सिम उपलब्ध करवाये है। आरोपी अरसद
मोम का अंगूठा बनाकर सिम जारी करने का काम करता है। आरोपी मोम से नकली थंब इप्रेशन तैयार करता था।
मनी लॉन्ड्रिंग का झूठा केस दिखाकर करीब 10 लाख रुपये की धोखाधडी करने का मामला
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