भूमि रिकॉर्ड का आधुनिकीकरण अटका, 30 करोड़ खर्च हुए
हरियाणा सरकार का भूमि रिकॉर्ड को आधुनिक बनाने का महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट ठंडे बस्ते में जाता दिख रहा है।
करीब 300 GPS-सक्षम रोवर, जो जमीन की पैमाइश को सटीक बनाने के लिए खरीदे गए थे, तहसीलों और उप-तहसीलों में धूल फांक रहे हैं। इससे भूमि रिकॉर्ड का आधुनिकीकरण और विवादों को कम करने का सपना अधूरा रह गया है।
सरकार ने हरियाणा लार्ज स्केल मैपिंग प्रोग्राम" के तहत 2023 में लगभग 300 GPS रोवर खरीदे थे। इसकी खरीद में तीस करोड़ रुपए खर्च किए गए थे।
इनका मकसद था कि जमीन की पैमाइश में आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल हो, जिससे गलतियों की गुंजाइश कम हो और भूमि संबंधी विवादों को खत्म किया जा सके। लेकिन, ये रोवर अभी तक इस्तेमाल में नहीं लाए जा सके हैं।
हरियाणा में डिजिटल इंडिया का सपना अधूरा:300 GPS रोवर धूल फांक रहे
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